रामराज्य परिषद sentence in Hindi
pronunciation: [ raameraajey perised ]
Examples
- उनकी यह जीत बिलकुल वैसी ही थी जब 1990 में पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ते हुए उन्होंने कवर्धा से रामराज्य परिषद के उम्मीदवार जगदीश चंद्रवंशी को हराया था.
- उनकी यह जीत बिलकुल वैसी ही थी जब 1990 में पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ते हुए उन्होंने कवर्धा से रामराज्य परिषद के उम्मीदवार जगदीश चंद्रवंशी को हराया था.
- जिसमें कांग्रेस 42, भाजपा 11, निर्दलीय 8 (जिसमें तीन विद्रोही कांग्रेस), रामराज्य परिषद 5, जनता पार्टी 3, जनता दल तीन (तीनों ही मूल कांग्रेस दल के थे) जो कांग्रेस विभाजन से अलग हुए।
- मुझे स्वयं को राम राज्य परिषद, हिन्दु महासभा व जनसंघ के एकीकरण के सिलसिले में वाराणसी में 1955 में रामराज्य परिषद के दो सांसदों के साथ हिन्दु महासभा के प्रधान मन्त्री श्री बी. जी. देशपाण्डे तथा जनसंघ के वरिष्ठ नेता दीन दयाल जी उपाध्यक्ष के साथ मन्त्रणा का अवसर मिला।
- इस समारोह के आयोजन में अखिल भारतवर्षीय धर्मसंघ, धर्मसंघ महाविद्यालय, अखिल भारतीय सर्वदलीय गोरक्षा महाअभियान समिति, शंकराचार्य ट्रस्ट चण्डीगढ़, धर्मवीर दल, परशुरामेश्वर महादेव मंदिर समिति, अखिल भारतीय रामराज्य परिषद, जगद्गुरू शंकराचार्य ज्योतिष्पीठाधीश्वर स्वामी माधवाश्रम धर्मार्थ ट्रस्ट-चिकित्सालय कोटेश्वर रूद्र प्रयाग, ज्योतिष्पीठ समिति दिल्ली आदि प्रमुख संस्थाये सहयोगी थी।
- हाल में ही राजस्थान में संपन्न पंचायत के चुनावों में जनसंघ, रामराज्य परिषद और स्वंतत्र पार्टी के माध्यम से भूस्वामियों ने भगभग 30 प्रतिशत पंचायत समितियरों पर अधिकार जमा लिया और वे कांग्रेसी जागीरदारों के साथ मिलाकर, जिनके साथ चुनाव के दौरान उनका घनिष्ठ संपर्क था, राजस्थान के राजनीतिक जीवन में एक जबर्दस्त ताकत के रुप में प्रकट हो गये हैं।
- सारे दे्श में नम्बर १ पार्टी तो कांग्रेस पार्टी रही लेकिन हिन्दुस्तान के इलाके कुछ ऐसे साफ-से थे जहाँ पर ये तीनों पार्टियाँ जीतीं, अलग-अलग, यानी कहीं पर कम्युनिस्ट नम्बर २ पर रहे, कहीं पर सोशलिस्ट नम्बर २ पर रहे और कहीं पर ये जनसंघ, रामराज्य परिषद वगैरह मिल-मिला कर इन सबको तो एक ही समझना चाहिए-नम्बर २ रहे।
- स्वामी स्वरूपानंदजी ने देखा कि भारत स्वाधीन तो हो गया किंतु भारत की जनता आज भी सभी प्रकार के दैहिक, दैविक और भौतिक संतापों से ग्रस्त है तो रामराज्य परिषद के अध्यक्ष के रूप में, जिसकी स्थापना करपात्री जी ने की थी, उन्होंने समूचे देश का भ्रमण करके हिंदुओं में नयी चेतना का संचार किया और उन्हें अपने अस्तित्व का आभास कराया।