समानाधिकरण meaning in Hindi
pronunciation: [ semaanaadhikern ]
Examples
- 1 . समानाधिकरण समुच्चयबोधक जिन समुच्चयबोधक शब्दों के द्वारा दो समान वाक्यांशों पदों और वाक्यों को परस्पर जोड़ा जाता है, उन्हें समानाधिकरण समुच्चयबोधक कहते हैं।
- 1 . समानाधिकरण समुच्चयबोधक जिन समुच्चयबोधक शब्दों के द्वारा दो समान वाक्यांशों पदों और वाक्यों को परस्पर जोड़ा जाता है, उन्हें समानाधिकरण समुच्चयबोधक कहते हैं।
- समानाधिकरण समुच्चयबोधक जिन समुच्चयबोधक शब्दों के द्वारा दो समान वाक्यांशों पदों और वाक्यों को परस्पर जोड़ा जाता है , उन्हें समानाधिकरण समुच्चयबोधक कहते हैं।
- समानाधिकरण समुच्चयबोधक जिन समुच्चयबोधक शब्दों के द्वारा दो समान वाक्यांशों पदों और वाक्यों को परस्पर जोड़ा जाता है , उन्हें समानाधिकरण समुच्चयबोधक कहते हैं।
- वे प्रोप्रिओकेप्तिओन के साथ ( शरीर की स्थिति की अनुभूति ),चेष्टा-अक्षमता, संतुलन, अग्रानुक्रम चाल, और उंगली अंगूठे समानाधिकरण के उपायों पर समस्याओं दिखा सकते हैं.
- [ 1] [5] वे प्रोप्रिओकेप्तिओन के साथ (शरीर की स्थिति की अनुभूति ),चेष्टा-अक्षमता, संतुलन, अग्रानुक्रम चाल, और उंगली अंगूठे समानाधिकरण के उपायों पर समस्याओं दिखा सकते हैं.
- जब ऐसे उदाहरणों के साथ हम ऐसे उदाहरण भी पाते हैं जिनमें विभक्तियों का ऐसा समानाधिकरण नहीं है तब यह निश्चय हो जाता है कि उसका सन्निवेश पुरानी परंपरा का पालन मात्र है।
- ४ . डॉ. कपूर के मत से 'समानाधिकरण' उस पद को कहते हैं जो किसी नामपद के बाद प्रयुक्त होता है और उसी का वाचक होता है और उसके कारक की स्थिति भी वही होती है।
- इस ग़फ़्लत का एक और पठन शायद संभव है - देवदास अस्तित्व की जिस बिल्कुल भिन्न कल्पना को संभव करता है वह ‘प्रेमियों , पागलों, कवियों' (जिनको शेक्सपीयर समानाधिकरण में रखते हैं) के साथ साथ ‘नशेड़ियों' के लिये ही संभव है शायद.
- विशेषण विशेष्य के बीच विभक्तियों का समानाधिकरण अपभ्रंश काल में कृदंत विशेषणों से बहुत कुछ उठ चुका था , पर प्राकृत की परंपरा के अनुसार अपभ्रंश की कविताओं में कृदंत विशेषणों में मिलता है जैसे ' जुब्बण गयुं न झूरि ' गए को यौवन को न झूर गए यौवन को न पछता।