अविद्वान meaning in Hindi
pronunciation: [ avidevaan ]
Examples
- 5 करोड़ जपः पुत्र स्थान-विद्या स्थान शुद्धि , अपुत्रवान को पुत्र, पुत्रवान के पुत्र का अच्छे घर संबंध, अविद्वान को विद्या, बुद्धिशक्ति जाग्रत, धारणाशक्ति, ग्रहणशक्ति वृद्धि।
- प्रथम श् लोक ( 317 वें ) में मनु ने अविद्वान ब्राह्मण को भी अच्छा कहा है और उसमें दृष्टांत दिया है प्रणीत तथा अप्रणीत अग्नि का।
- आप किसी अविद्वान , लेकिन शरीफ आदमी को भले ही बरदाश्त कर लें , पर ऐसे विद्वान् को बददाश्त नहीं करना चाहेंगे , जो दुष्ट प्रकृति का हो।
- उनके मरने के पश्चात् आर्य समाज में उसके नाम के विपरीत काफी सारे अविद्वान और चालाक लोग भी शामिल हो गए जैसे कि फिलहाल स्वामी अग्निवेश जैसे लोग हैं।
- राजा अश्वपति कहते हैं कि मेरे राज्य में कोई चोर नहीं है , न कंजूस , न मद्यप यानी कि नशा करने वाला , न अग्निहोत्र से हीन और अविद्वान है।
- एक आदर्श यानी कि सुशासित राज्य में चोर , कंजूस यानी कि केवल अपने स्वार्थ में लीन , नशा करने वाला , व्यभिचारी , यज्ञ न करने वाला और अविद्वान नहीं होना चाहिए।
- मुंडकोपनिषद में वर्णित ऋग्वेदादि वेदशास्त्र-समूह रूप अपरा विद्या एवं ब्रह्मज्ञान ( ब्रह्मसाक्षात्कार ) रूप परा विद्या ये दोनों जिसमें पाई जाएँ वही विद्वान कहाता है और जिसमें यह बात न हो वह अविद्वान है।
- रामायण कालीन सभ्यता का वर्णन करते हुये बाल्मीकि मुनि जी कहते है - कि अयोध्या नगरी मे कोई नर नारी कामी , कंदर्प , निष्ठुर , मूर्ख ( अविद्वान ) और नास्तिक नहीं था।
- शतपथ ब्राह्मण और छान्दीयउप-~ निषद में केकय के राजा अश्वपति का उल्लेख है और उसके मुख से यह कहागया है कि मेरे जनपद में न कोई चोर है , न कोई शराबी है, न कोई ऐसाव्यक्ति है जो याज्ञिक अनुष्ठान न करता हो, न कोई अविद्वान है और न कोईव्यभिचारी है.
- अर्थ : कैकेय देश के राजा अश्वपति ने कहा , “ मेरे राज्य में कोई चोर नहीं है , कंजूस नहीं , शराबी नहीं , ऐसा कोई गृहस्थ नहीं है , जो बिना यज्ञ किये भोजन करता हो , न ही अविद्वान है और न ही कोई व्यभिचारी है , फिर व्यभिचारी स्त्री कैसे होगी ? ”