रफ्तारी sentence in Hindi
pronunciation: [ raphtari ]
Examples
- [प्रियवर अरुण जी की तेज़ रफ्तार जिंदगी में कामा, फुलस्टाप की गुंजाइश कम ही दिखी है मगर उन्होने इतनी तेज रफ्तारी में लिखा है कि जब उन्हें शब्द नहीं सूझे तो कामा फुलस्टाप लगाते गए।
- [प्रियवर अरुण जी की तेज़ रफ्तार जिंदगी में कामा, फुलस्टाप की गुंजाइश कम ही दिखी है मगर उन्होने इतनी तेज रफ्तारी में लिखा है कि जब उन्हें शब्द नहीं सूझे तो कामा फुलस्टाप लगाते गए।
- चले थे तेज रफ्तारी, कभी ख्वाबों-खयालों में, हकीकत बन के मुफलिसी, लटक गयी है तालों में, खुलेगा कैसे मुकद्दर, जी का जंजाल है, इज्जत लुटने का खतरा है, ये खयाल है।
- तमाम भागम भाग अफरा तफरी में तेज रफ्तारी महानगरों की तुलना में धर्मभीरु लोग छोटे कस्बों के लोग अपनी संवेदनाओं को ज़िंदा रखते हैं और ऐसा लगता है कि एक साधारण की शवयात्रा बड़े असाधारण तरीके से पूरे कस्बे पर छाई रहती है।
- सर्दियों के दिन हैं तो बर्फ खोदकर लाना, उसे पिघलाना और फिर शून्य से 30-40 डिग्री नीचे गिर चुके तापमान और इस बेरहम ऊंचाई पर उसके उबलने का इंतजार महानगरीय रफ्तारी जीवनशैली के आदी लोगों को फ्रस्ट्रेट कर सकता है।
- भले ही तेज रफ्तारी के कारण, ग्लोबलाइजेशन के कारण, मीडिया एवं कम्युनिकेशन बूम के कारण और फैशन के कारण लखनऊ की रात की तस्वीर बदली नज़र आती हो, लेकिन इतना बदलाव आने के बावजूद आज भी अमीनाबाद की धक्का-मुक्की झेलकर सस्ता सामान खरीदती महिलाएं उसी तरह हैं….
- तभी वह इन मामलों में जांच की रफ्तार कुछ तेज कर पाएगी, वरना तमाम दूसरे मामलों की तरह इसमें भी सीबीआई अपनी सुस्त रफ्तारी का शिकार हो जाएगी और फिर असली आरोपी सुबूत के अभाव में न्यायालय से बाहर आ जाएंगे, लेकिन सीबीआई का काम आसान नहीं है.
- जिन एब्सट्रक्ट को आत्मा की गहराइयों पर यथार्थ के मिश्रण से नये प्रयोगों की बात वे सोचते थे, वे ऐसे ऐसे रूपों में बाजार में दिखते थे कि सहसा भरोसा ही नहीं होता।” वर्तमान की तेज रफ्तारी और फर्राटेदार संगीत ने राजू भाई के भीतर के चित्राकार और गायक को पटखनी दे डाली है।
- कल जब तुम्हारे पास तेज़ रफ्तारी के साधन नहीं थे तब तुम्हारे पास कितना समय था, मगर आज गाड़ी, फैक्स, मोबाइल, इन्टरनेट सुविधा, सब कुछ है मगर समय कहाँ गया...?? सोचना... घबराना नहीं... सोचना कि कहीं तुम दिखावे पर तो नहीं जा रहे हो...
- जानकारी के अनुसार तारा चंद पुत्र तुलसी राम के खिलाफ ऊना जेएमआईसी-2 न्यायालय में आईपीसी की धारा 279 के तहत तेज रफ्तारी व लापरवाही से वाहन चलाने का मामला चला हुआ था, मगर न्यायालय में उपस्थित न होने के चलते न्यायाधीश ने उक्त व्यक्ति को अप्रैल 2010 में भगोड़ा घोषित कर दिया था।